Bihar Board 12th Chemistey Top-30 Questions Exam 2024: महत्वपूर्ण Question answer कक्षा 12th Chemistey Top-30 Questions 2024, BSEBEXAM
Bihar Board 12th Chemistey Top-30 Questions Exam 2024:
प्रश्न 1. परिसारक दाब को परिभाषित करें। क्यों परिसारक दाव अपसामान्य हो जाता है?
उत्तर- वह अतिरिक्त दाब जो घोलक का घोल में प्रवेश को रोक देता है। परिसारक दाब कहलाता है। यह विलयन में उपस्थित विलेय कणों की संख्या पर निर्भर करते हैं चाहे यह कण अणु, परमाणु अथवा आयन क्यों न ले । इनके प्रयोगिक एवं सैद्धांतिक मान में द्विभिन्नता आ जाती है, अतः परिसारक दाब अपसामान्य हो जाता है।
प्रश्न 2. उल्टा परासरण क्या है ?
उत्तर- जब वाह्य आरोपित दाब कार्यरत परासरण दाब से उच्च होता है तो परासरण, विपरीत परासरण या उल्टा परसरण कहा जाता है। इस क्रिया का उपयोग समुद्री जल के विलवीकरण (desalination) में किया जाता है।
प्रश्न 3. ‘क्वथनांक का उन्नयन’ से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर- किसी शुद्ध विलायक में अवस्थित विलेय डालने से विलयन के क्वथनांक में वृद्धि हो जाती है, इस प्रक्रिया को क्वथनांक का उन्नयन कहा जाता है।
प्रश्न 4. राउल्ट का नियम का उल्लेख करें। यह विद्युत अनअपपदय मुल्य का अनुभार ज्ञात करने में किस प्रकार उपयोगी है? [20118, 2014]
उत्तर- विलयन के घटक का आशिक वाष्प दबाब उसके मोल प्रभाज के समानुपाती होता है। चूँकि अवाष्पित विलेय को शुद्ध विलायक में घुलाने से उसका क्वथनांक का उन्नयन हो जाता है, तो राउल्ट के नियम से विद्युत अनुपघट्य पुल्या का अणु भार ज्ञात कर लिया जाता है।
प्रश्न 5. तनु घोल के अणुसंख्य गुणधर्म को लिखें। विभिन्न प्रकार के अणुसंख्य गुणधर्मों को लिखें [2012A]
उत्तर- कोलॉइडल सॉल अणुसंख्यक गुणों, यथा वाष्पदाब का आपेक्षिक अवनमन क्वथनांक का उन्नयन, हिमांक का अवनमन तथा परासरण दाब को प्रदर्शित करत हैं लेकिन कोलॉइडी कणों के उच्च औसत आण्विक द्रव्यमान के कारण dispersed phase mole fraction sol में अत्यन्त कम होता है। इसका कारण कोलॉइडी कणों का multimolecular तथा macro molecular प्रकृति है।
प्रश्न 6. परासरण एवं विसरण में क्या अन्तर है? बर्कले एवं हार्टसेल कि द्वारा परासरण दाव ज्ञात करने की विधि का वर्णन करें। [20144, 2016]
उत्तर- परासरण : यदि एक घोल को किसी घोलक या अधिक तनु मोल से अर्द्धपारगम्य झिल्ली द्वारा पृथक किया जाए तो घोल अणु अधिक पोल से सद घोल में तबतक प्रवाहित होंगे जबतक कि दोनों घोलों के बीच साम्य स्थापित नहीं सके हो जाता है। इस क्रिया को परासरण कहते हैं।
विसरण: ऊँचे सांद्रण वाले क्षेत्र से आयन या अणु का निम्न सांदण वाले क्षेत्र में हो जाता है, विसरण कहते हैं। बर्कले एवं हार्टले विधि द्वारा उपकरण में कॉपर फेरोसायनाइड का अर्द्धचरणम्य झिल्ली रहता है। साछिद्र बर्तन के छोर पर घोलक एवं दूसरे छोर पर capillatory रहता है। घोल तरफ एक पिस्टन लगा होता है। वे दाब जो घोल की ओर घोलक के प्रवाह को रोक देता है परासरण दाब कहलाता है।
प्रश्न 7. वाष्पदाब से आप क्या समझते हैं? [2014A]
वाष्प दाब में क्या होता है जब (1) वाष्पशील विलेय को विलयन से मिलाते हैं, (ii) अवाष्पशील विलेय को विलयन में मिलाया जाता है?
उत्तर- निश्चित ताप पर द्रव के साथ साम्यावस्था में स्थित द्रव के वाष्पों द्वारा डाला गया दाब वाष्पदाब कहलाता है।
(i) वाष्पशील विलेय को विलयन में मिलाते हैं तो बाप्पा बढ़ जाता है।
(ii) अवाष्पशील विलेय को विलयन में मिलाते हैं तो वाष्पदाब पर जाता है।
प्रश्न 8. किसी भी घोल की मोललता मोलरता से कैसे भिन्न है [2015A]
उत्तर- किसी घुल्य के मोल की संख्या जो । kg घोलक में घुलता है, उसे मोललता (m) कहा जाता है। जबकि 1 लीटर घोल में घुले हुए घुल्य के मोलों की संख्या को मोलरता (N) कहा जाता है।
प्रश्न 9. क्यों किसी तरल में उड़नशील ठोस घुल्य डालने पर उसके वाप्प दाव में कमी आती है [2018A]
उत्तर- जब किसी तरल में उड़नशील ठोस घुल्य डाला जाता है तो तरल सतह पर से कुछ अणुओं को विस्थापित कर देता है जिसके कारण वाष्प का बनना कम हो जाता है, इसलिए वाष्पदाब भी कम हो जाता है।
प्रश्न 10. प्रतिहिमांक क्या होता है ?
उत्तर- ऐथाइलिन ग्लाइकाल जैसे पदार्थ जल में मिलाने पर हिमांक बिन्दु को कम करते हैं, ऐसे पदार्थ प्रतिहिमांक कहलाते हैं ।
प्रश्न 11. क्या होता है जब रक्त कोशिकाओं को जल में रखा जाता है?
उत्तर- परासरण के कारण जल अणु रक्त कोशिका के अंदर चले जाते हैं। परिणामस्वरूप रक्त कोशिका का आकार बढ़ जाता है और फट जाती है।
प्रश्न 12. विलयन की मोलर सांद्रता पर तापमान का क्या प्रभाव है ?
उत्तर- तापमान बढ़ने से मोलरता घटती है क्योंकि तापमान के बढ़ने से विलयन का आयतन बढ़ता है लेकिन मोल संख्या समान रहती है।
प्रश्न 13. NaCl विलयन का हिमांक बिन्दु कम है जबकि जल का ज्यादा तथा NaCl विलयन का क्वथनांक ज्यादा है जल से क्यों ?
उत्तर- जब किसी विलेय को जल में घोला जाता है तब वाष्प दाब कम हो जाता है। अतः विलयन उच्च ताप पर उबलता है जबकि कम ताप पर हिमांक बिन्दु है ।
प्रश्न 14. वाण्ट-हॉफ गुणक का मापन किन परिस्थितियों में । से अधिक होता है ?
उत्तर जब विलेय विलायक में वियोजित हो जाता है ।
प्रश्न 15, आइसोप्रोपिल एल्कोहल को रगड़ने से प्रायः शीतलन (cool-ing sensation) उत्पन्न होता है । क्यों ?
उत्तर आइसोप्रोपाइल एल्कोहल (CH, CHOHCH) वाष्पशील द्रव होने कारण त्वचा से आवश्यक वाष्पन की गुप्त ऊष्मा को अवशोषित कर लेती है, जिससे शीतलन उत्पन्न होता है ।
प्रश्न 16 द्रव अमोनिया की बोतल का ढक्कन (Seal) खोलने के पक सामान्यतः उसे शीतल किया जाता है । कारण बताइए ।
उत्तर शीतल करने से गैस द्रवीकृत होने लगेगी और इसका वाष्पदाव पर जाता है । इस प्रकार ढक्कन खोलने पर गैस तेजी से बाहर नहीं आएगी।
प्रश्न 17. क्या बेंजोइक अम्ल जल में द्वितीयक (dimer) के रूप में भी होता है ?
उत्तर नहीं, यह जल में आयनों में वियोजित हो जाता है। यह केवल ध्रुवोर (non-polar) विलायकों में ही द्वितीयक के रूप में रह सकता है।
प्रश्न 18. जब दो विलयन A और B को मिलाया जाता है तब ग्राम मिश्रण प्राप्त होता है। राउल्ट नियम में किस प्रकार का विचलन होता है ?
उत्तर मिश्रण विलयन का ताप बढ़ना दर्शाता है कि यह ऊष्माक्षेपी है। AH = ….. अतः विलयन राउल्ट नियम के ऋणात्मक विचलन दर्शाता है ।
प्रश्न 19. किसी विलयन की मोललता, उसकी मोलरता से किस प्रकार भिन्न होती है ?
उत्तर मोललता (1) विलायक के प्रति किग्रा में घुलित विलेय के मोलों की संख्या होती है जबकि मोलरता (M) विलयन के प्रति लीटर में घुलित विलेय के मोलों की संख्या होती है ।
प्रश्न 20. जल में ग्लूकोज के विलयन का वादाब जल को वापवा से कम क्यों होता है ?
उत्तर ग्लूकोज जल की सतह के कुछ क्षेत्रफल को अध्यासित (occupy. घेरेगा) करेगा । यद्यपि अपनी अवाष्पशील प्रकृति के कारण यह वाष्पदाब में कोई योगदान नहीं देता है । अतः विलयन का वाष्पदाब शुद्ध विलायक अर्थात् जल के वाष्पदाब से कम होगा ।
प्रश्न 21. वर्णन करें कि अनादर्श विलयन राउल्ट नियम का पालन न करता ।
उत्तर जब कोई विलयन सभी सान्द्रताओं पर राउल्ट के नियम का पालन न करता तो यह अनादर्श विलयन कहलाता है । इस प्रकार के विलयनों का वाष्पदाब राउल्ट के नियम द्वारा प्रयुक्त किए गए वाष्प दाब से या तो अधिक होता है कम।
प्रश्न 22. ताप बढ़ाने पर गैसों की द्रवों में विलेयता में, हमेशा कमी आने की प्रवृत्ति क्यों होती है ?
उत्तर विलयन की घुलनशीलता ताप के बढ़ने पर घटती है क्योंकि गैस बार आ जाती है। गैसों की घुलनशीलता के लिए ऐन्थेल्पी मान ऊष्मा अवशोषित प्रक्रम है गैस + विलायक विलयन + ऊष्मा 1 ली-चैटिलियर सिद्धांत के अनुसार ताप बढ़ने पर प्रक्रम विपरीत दिशा में बढ़ता है अर्थात् गैसों की घुलनशीलता घटती है। हालाँकि कुछ अपवा भी है।
प्रश्न 23. क्या कारण है कि स्थिरक्वांथी विलयन संगठन परिवर्तन बिना ही अलग किए जा सकते हैं ?
उत्तर द्रव मिश्रण में उपस्थित दोनों अवयव वाष्पित होकर समान संख्या मोल अंश दर्शाते हैं जब इन्हें गरम किया जाता है ।
प्रश्न 24. कुछ पदार्थों की घुलनशीलता ऊष्माक्षेपी है तथा कुछ के लि
यह ऊष्माशोषी क्यों ? उत्तर यदि विलयन में विलेय-विलायक के मध्य आकर्षण बल अधिक है तब ऊष्मा उत्पन्न होती है और घुलनशीलता प्रक्रम
प्रश्न 25. विलयन की सांद्रता को व्यक्त करने के लिए मोलरता की अपेक्षा मोललता को वरीयता क्यों दी जाती है ?
उत्तर मोललता में विलायक का द्रव्यमान लेते हैं जबकि मोलरता को प्रदर्शित करने में विलयन का आयतन लिया जाता है। चूँकि ताप के साथ द्रव्यमान नहीं बदलता है जबकि आयतन बदल जाता है। अतः ताप के साथ मोललता नहीं बदलती है लेकिन मोलरता बदल जाती है। इसलिए विलयन की सान्द्रता को व्यक्त करने के लिए मोलरता की अपेक्षा मोललता बेहतर होती है।
प्रश्न 26. तनु घोल के अणुसंख्य गुणधर्म को लिखें। विभिन्न प्रकार के अणुसंख्य गुणधर्मों को लिखें।
उत्तर जब एक अवाष्पशील विलेय विलायक में डाला जाता है तो विलयन का वाष्पदाब घटता है। विलयन के कई गुण वाष्प दाव के अवनमन से संबंधित है, वे है विलायक के समदाब का अपेक्षिक अवनमन, विलायक के हिमांक का अवनमन, विलायक के क्वथनांक का उन्नयन और विलयन का परासरण दाब!
प्रश्न 27. प्रभाजी आसवन विधि से जल को ऐथाइल एल्कोहल से अलग नहीं किया जा सकता, क्यों ?
उत्तर 95.4% ऐथाइल एल्कोहल तथा 4.6% जल स्थिरक्वांथी विलयन बनाते हैं 351.1 K ताप पर। अतः दोनों को आशक्त किया जा सकता लेकिन प्रभाजी आसवन से अलग नहीं किया जा सकता ।
प्रश्न 28. क्या यूरिया एवं सोडियम क्लोराइड का सममोलर विलयन समपरासरी होता है ? अपने उत्तर की पुष्टि कीजिए ।
उत्तर नहीं, ऐसा नहीं होता है। सोडियम क्लोराइड (NaCl) विलयन का परासरण दाब यूरिया विलयन की अपेक्षा उच्च होगा क्योंकि एक वैद्युत अपघट्य होता है। यह (NaCl) यूरिया जो कि एक आण्विक ठोस है, इसकी अपेक्षा विलयन में अधिक संख्या में आयनों की पूर्ति करेगा।
प्रश्न 29. दलदली भूमि में उगने वाले पौधे सामान्यतः नष्ट हो जाते हैं। कारण बताइए ।
उत्तर दलदली भूमि में उगने वाले पौधे उच्च परासरण दाब विकसित करते हैं क्योंकि कोशा रस में अतिरिक्त मृदा कणों (Soil particles) की उपस्थिति होती है। इसलिए ये मिट्टी (मुदा) से जो कि अल्पपरासरी प्रकृति का होता है, अतिरिक्त जल अवशोषित कर सकते हैं। इससे मूल रोम फट जाएँगे। इसलिए पौधे धीरे-धीरे नष्ट हो जाएँगे ।
प्रश्न 30. क्या 0.1M NaCl एवं 0.1M सुक्रोज विलयन के लिए क्वथनांक में उन्नयन का मान समान होगा ?
उत्तर नहीं, यह समान नहीं होगा क्योंकि अणुसंख्यक गुणधर्म केवल मोलर सान्द्रता पर ही निर्भर नहीं करते बल्कि विलयन में अणुओं (आयनों की संख्या पर भी निर्भर करते हैं सोडियम क्लोराइड (NaCl) एक आयनिक ठोस है और 1 यह सुक्रोज (C, HO) जो कि एक आण्विक ठोस है, इसकी अपेक्षा विलयन में अधिक संख्या में अणु (आयन) बनाएगा। इस प्रकार, 0.1M NaCl विलयन के लिए क्वथनांक में उन्नयन ज्यादा होगा ।
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Bihar Board 12th Chemistey Top-30 Questions Exam 2024